कान्ह की बाँकी चितौनी चुभी / मुबारक - Dec 01, 2019 3:34:44 PM
बाजत नगारे घन, ताल देत नदी नारे / मुबारक - Dec 01, 2019 3:35:13 PM
कनक बरन बाल,नगन लसत भाल / मुबारक - Dec 01, 2019 3:35:39 PM
दोहे / मुबारक के दोहे - Dec 01, 2019 3:36:48 PM