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राजि खुशि -कुशल
रातिवियाण - सुबह सुबह का समय
रमाण- (रंभाना)
रड़, अखरौ-अवषर्ण
रतन,डिबली-आँख की पुतली
रफूचक्कर , चंपत -गायब होना , भाग जाना
रख्यालू-धान कूटने वाली ओखली
रंगत-रोनक
रगरट्या-उतावला
रगरयाट, कतामति, कपताट, चबळाट-उतावलापन
रफणाट- (प्रियजन की अत्यधिक याद आने पर होने वाली बेचैनी)
रणमणि- (विरह की वेदना एवं मिलन की कल्पना के साथ आने वाली प्रियजन की याद)
रंगड़ाण- ऊंची नीची कंकरीलीभूमि, कंकड- पत्थरों वाला स्थान
रंगताट- जल्दबाजी जन्य मानसिक विमूढता, उतावलापन, क्या करूँ की स्थिति
रगरियाट- उत्सुकता, चंचलता
रगसा- रोयें, छोटे पतले और नरम बाल
रड़ागेण- आग में झुलसना
रड़ाघुस्सी- बच्चों का फिसलने वाला एक खेल
रसीलु- रसीला, पूरा भरा हुआ
रगड़घोस = व्यर्थ , बेकार
रग ताडू = भूस्खलन से बाना उबड़ खाबड़
रतकाळि =बड़े सुबह , उषा काल से पहले
रमदैलि = सभी चीजों भात, दाळ सब्जी को एक साथ मिला देना