महाराष्ट्र के विद्वान संन्यासी भविष्यवक्ता गौक्रांतीदुत श्री श्री 1008 महामंडलेश्वर मुक्तानंद गिरि बापूजी —
एक ऐसा व्यक्तित्व की जिनके मुखसे निकाला शब्द हमेशा सत्य होता है।नरेंद्र मोदी भारत के 2016 में PM बनेंगे यह पहली भविष्यवाणी 2007 में ही की थी जो मोदी के लिए पहली भविष्यवाणी
थी ।ऐसी आज तक सेंकडो भविष्यवाणीयां सटीक निकली ज्योतिष, वास्तुज्ञ , फेसरिडींग भागवत कथा , राम कथा, शिव कथा व महाराष्ट्र के एकमात्र गौकथाकार व हनुमान कथाकार होने के साथ साथ हमेशा 14-14 घंटे एक ही जगह पर बैठकर हजारों लोगों से बात करते कभी जो थकते नहीं , हजारों लोगोंको रोगमुक्त व व्यसनमुक्त कर चुके , लाखों कें परम मार्गदर्शक बन चुके व जिन्होंने कइ सालोंसे भोजन तक नहीं किया है ऐसे भविष्य दृष्टा महात्यागी युवा संन्यासी का जीवन में एक बार अनुभव जरूर करें.
भारतपुत्र- युवा संन्यासी गौक्रांतीदूत महामंडलेश्वर मुक्तानंदगिरि बापूजी. बापूजीने जिवनमे पहली बार जिस महापुरुष को देखा वह है ब्रम्हर्षि जनार्दन स्वामी मौनगिरिजी महाराज ! बापूजी जब छह साल उम्र के थे तब इस महापुरुष के गोद मे बैठने के बाद उन्होने सिर पर हाथ रख कर शक्तीपात किया और बापूजी का आज्ञा चक्र जागृत किया, उसीक्षण से बापूजी आजतक यानी २७ साल से अविरत भक्ती कर रहे है ! वह बचपन का दिव्य प्रसंग बापूजी के लिए सबसे एहम था ! तभी तो कहते है गुरु बिना दशा और दिशा कभी नहीं मिलती ! इतनी छोटी उम्र में पहुंचे हुए महापुरुष की दिव्यतम कृपा आज के युग में किसी विरले पुरुष को ही प्राप्त होती है ! इसी दिव्यतम कृपा के कारणही बापूजी को संन्यास जिवन प्राप्त हुआ ! वही बचपनकी सद् गुरु कृपा आज रंग ला रही है ! मंत्र सिध्दी के कारण अनेक प्रकार के रोगी व दुःखी लोक निजात पा रहे है,असंभव समस्याएँ संभव हो रही है ! बचपन से आजतक, की गई हर भविष्यवाणी सत्य निकली है ! मोदीजी भारत के प्रधानमंत्री बनेंगे ये २००७ में ही कह दिया था ! मोदीजी के बारे में ये भारत की सबसे पहली भविष्यवाणी थी, जो बिलकुल सत्य हुई ! कथा एवं प्रवचन सत्संग के लिए बापूजी को महाराष्ट्र के विद्वान एवं प्रखर वक्ता माना जाता है, जिनकी जिवनशैली बहुत ही कठीणतम नियमो में बंधी है,१४ साल से भोजन का त्याग है, रोजा़ना १४ घंटे एकही जगह पर कुछ खाए-पिए बगैरही बैठते है ,फिर भी हमेशा प्रसन्नमुख रहते है ! थकान जिनके जिवनमें कभी दिखती नहीं, लाखो लोगों के जो परम मार्गदर्शक बने है, जिनके सानिध्य का लाखो लोग अनुभव कर चुके है ! जिन्हे वाचासिध्दी प्राप्त है, ऐसे अलौकिक संन्यासी का दिदार जिवनमें एक बार जरुर करे, जो महाराष्ट्र के एकमात्र गौकथा एवं हनुमानकथाकार है! जिन्होने बचपन से ही सद् गुरु महीमा जाना, वही गुरुमहीमा व भक्ती दुसरो को जनाने के लिए बचपन से ही पिनाकेश्वर महादेव कि साधना, गौसेवा करते आए है ! तीन लाख बेलवृक्ष लगाना जिनका संकल्प है,हजारो गाय पालना जिनका संकल्प है,आज भी २००-३०० गौमाता आश्रम में है,सद् गुरु मंदीर व जगत में अनुठा शिवालय बनाने का संकल्प है ! जो हमेशा गौमाता पालने व पेड लगाने कि प्रेरणा देते रहे है,जिनके लाखो शिष्य है!जिनके समान कठीण नियमों का पालन करनेवाला दुसरा संन्यासी महाराष्ट्र में शायद ही कोई होगा !बापूजी वास्तुविशारद, ज्योतिष, फेसरीडर, शिवकथा, रामकथा, गौकथा,भागवत,महाभारत व हनुमान कथाकार है ! जनार्दन स्वामी के शिष्यों में सबसे कम उम्र के संन्यासी होने के बावजुद भी लोकसेवा, समाजकल्याण हेतु जिनके श्रम एवं तप सबसे अग्रनी है ! गौसेवा व लोकसेवा कार्यार्थ दो चँरिटेबल ट्रस्ट बनवाए गए है, श्री भवानीशंकर सेवा ट्रस्ट व श्री पवनसुत सेवा ट्रस्ट ! जो ट्रस्ट 80-G प्रमाणित है !